विशाखापत्तनम बंदरगाह प्राधिकरण प्रेस केंद्रीय मंत्री श्री सर्पानंद सोमवाल ने विशाल गैस वाहक (वीएलओसीआई शिवाल्का विशाखापत्तनम पोर्ट) का औपचारिक स्वागत किया।
विशाखापत्तनम बंदरगाह, जलमार्ग एवं परिवहन मंत्री श्री सर्पानंद सोमवाल ने आज विशाखापत्तनम बंदरगाह पर भारत के लिए अपने नौवहन आगमन के दौरान एक भव्य वाहक (वीएलओसीआई शिआलिक) का औपचारिक स्वागत किया।
भारतीय नौवहन निगम (बीसी) द्वारा हाल ही में 10 सितंबर 2005 को भारतीय ध्वज के तहत शामिल किया गया स्टाइवॉल, एक उत्कृष्ट समय और ऊर्जा परिवहन क्षमता प्रस्तुत करता है। माननीय मंत्री ने एससीआई के अध्यक्ष को बधाई दी और विशाखापत्तनम बंदरगाह प्राधिकरण (वीआरए) को अपनी पहली एलपीजी खेप के दौरान सुचारू संचालन में सहायता के लिए धन्यवाद दिया।
सभा को संबोधित करते हुए शेल का शामिल होना मैरीटाइम इंडिया विज़न 2000 का पूर्णतः अनुपालन है, जो भारतीय टैग के तहत वैश्विक शिपिंग और ऊर्जा व्यापार में बढ़ती ताकत का एक गौरवपूर्ण उदाहरण है। उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि स्वदेशी स्वामित्व और वैश्विक प्रतिस्पर्धात्मकता वाला राष्ट्र और भारत के आत्मनिर्भर भारत के लिए एक आदर्श है।लोकसभा सांसद, विशाखापत्तनम ने माननीय प्रधान मंत्री द्वारा भारत को ऊर्जा प्रदान करने के प्रयासों की सराहना की और सार्वभौमिक ऊर्जा सुलभता में सुधार लाने की पहल का उल्लेख किया।विशाखापत्तनम प्राधिकरण के अध्यक्ष, आईएएस डॉ. एम. अंगमुत ने इस प्रगतिशील पहल के लिए एससीटी की सराहना की और पश्चिमी तट पर वाखापत्तनम को एक उभरते ऊर्जा रसद केंद्र में बदलने के लिए आंध्र प्रदेश सरकार के साथ मिलकर काम करने के लिए वीआरए की प्रतिबद्धता की पुष्टि की।
माननीय वीओ शिवालिक ने बंदरगाह के बुनियादी ढांचे के आधुनिकीकरण और
संचालन दक्षता बढ़ाने में ओआरटीए की सराहना की। देश की बढ़ती ऊर्जा और गैस मांगेंसमारोह के दौरान माननीय विधायक, इवाक्तीदत सौह, पोर्ट्स शिपिंग एंड वेस्टवेज़, शिपिंग कॉर्पोरेशन, विशाखापत्तनम पोर्ट अथॉरिटी के सचिव अधिकारी उपस्थित थे।
विशाखापत्तनम पोर्ट अथॉरिटी के सचिव, एस.टी. वेणु गोपाल ने भी इस अवसर पर अपनी बात रखी।
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